Liquors were going to be expensive:
रायपुर। छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की अध्यक्षता में गुरुवार को कैबिनेट बैठक आयोजित की गई। इस बैठक के दौरान मंत्री मोहम्मद अकबर ने कहा कि प्रदेश में अब शराब महंगी हो जाएगी, क्योंकि राज्य सरकार ने मादक पेय पर अतिरिक्त उत्पाद शुल्क बढ़ाने का फैसला किया है।
आगे उन्होंने कहा कि इस संबंध में मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की अध्यक्षता में कैबिनेट बैठक के दौरान निर्णय लिया गया है। राज्य के वन मंत्री ने यहां संवाददाताओं से बात करते हुए कहा कि कैबिनेट ने नई मत्स्य नीति की मंजूरी दी है। इसे 20 जुलाई से होने वाले राज्य विधानसभा में प्रस्तुत किया जाएगा। इस दौरान विधानसभा में हंगामे के भी आसार हैं।
लेकिन आबकारी शुल्क में वृद्धि किए जाने से मदिरा के फुटकर विक्रय दर पर कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा।
भूपेश कैबिनेट ने 2022-23 के लिए आबकारी राजस्व लक्ष्य को पूरा करने के लिए शराब पर अतिरिक्त उत्पाद शुल्क बढ़ाने का निर्णय लिया है। प्रदेश में इससे पूर्व अतिरिक्त उत्पाद शुल्क पांच रुपये प्रति बोतल शराब का था, जो कि अब 10 रुपये होगा। इस मौके पर मंत्री ने कहा कि राज्य में सहायक कांस्टेबलों के स्वीकृत पदों को भंग करके जिला स्ट्राइक फोर्स (डीएसएफ) कैडर के गठन के लिए एक प्रस्ताव भी पास किया गया है। इस दौरान उन्होंने कहा कि इससे सहायक कांस्टेबलों के वेतन से संबंधित विसंगति खत्म हो जाएगी।
मदिरा के फुटकर विक्रय दर पर कोई प्रभाव नहीं
आबकारी शुल्क में वृद्धि किए जाने से मदिरा के फुटकर विक्रय दर पर कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा, अर्थात् फुटकर विक्रय दर अपरिवर्तित रहेंगे। वृद्धि की यह राशि फुटकर विक्रय दर में शामिल अन्य घटक में समाहित होगी।
आबकारी विभाग के अधिकारियों द्वारा जानकारी दी गई है कि राज्य सरकार की महत्वाकांक्षी योजना गौठान के विकास तथा रख-रखाव के लिए राशि की आवश्यकता की प्रतिपूर्ति हेतु आबकारी विभाग द्वारा देशी एवं विदेशी मदिरा (स्प्रिट) (न्यूनतम ड्यूटी दर) के फुटकर विक्रय दर पर प्रति नग (बोतल, अद्धा, पाव) पांच रूपए की दर से अतिरिक्त आबकारी शुल्क अधिरोपित किया गया है।
गौठान के विस्तार एवं सफल क्रियान्वयन तथा अन्य विकास गतिविधियों के लिए अतिरिक्त राशि की आवश्यकता को ध्यान में रखते हुये मंत्रि-परिषद की बैठक 14 जुलाई 2022 में देशी एवं विदेशी मदिरा (स्प्रिट) (न्यूनतम ड्यूटी दर) के फुटकर विक्रय दर पर नग (बोतल, अद्धा, पाव) पांच रूपए के स्थान पर 10 रूपए की दर से अतिरिक्त आबकारी शुल्क अधिरोपित किए जाने का निर्णय लिया गया है।
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