गुप्तचर विशेषछत्तीसगढ़

Old Pension Scheme CG: कहीं ख़ुशी तो कहीं गम: छत्तीसगढ़ के कर्मचारियों के लिए पुरानी पेंशन बनी ‘टेंशन’, सरकार की घोषणा के बाद भी हजारों शासकीय कर्मियों का भविष्य दांव पर! जानिए क्या है पूरा माजरा…

Old Pension Scheme CG: छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) में सरकारी कर्मचारियों के लिए पुरानी पेंशन योजना (Old Pension Scheme) लागू कर दी गई है। लेकिन इस जश्न के कोलाहल के बीच दबी आवाज में भले सही, लेकिन हम कुछ सवाल उठाना चाहते हैं।

क्या कर्मचारी जिस मांग के पूरा होना पर सरकार की पीठ थपथपाते नहीं थक रहे हैं, वह पुरानी पेंशन बहाली सच में कितने कर्मचारियों को फायदा पहुचने वाली है?

तो आइए गुप्तचर की इस खास खबर के साथ हम यह समझने का प्रयास करते हैं कि, ‘क्या यह सरकार की घोषणा केवल चुनिंदा कर्मचारियों के लिए सौगात लेकर आई है’ या जश्न में डूबे कर्मचारियों को अभी भी मनचाहे फायदों के लिए लंबा इंतजार करना पड़ेगा।

कर्मचारियों को पेंशन की टेंशन

छत्तीसगढ़ में जहां पुरानी पेंशन बहाली पर जश्न मनाया जा रहा है, वहीं प्रदेश में हजारों ऐसे कर्मचारी हैं, जो अपनी पेंशन को लेकर अभी भी असमंजस की स्थिति में है। जानकारों का कहना है कुछ बिंदु पर सरकार ने अभी अपना रुख स्पष्ट नहीं किया है। ऐसे में कर्मचारियों को डर है कि कहीं वह पुरानी पेंशन से अछूते ना रह जाए।

पुरानी पेंशन योजना के तहत शासकीय कर्मचारी जो 30 वर्ष या उससे अधिक समय की सेवा दे चुके हैं, उनको पुरानी पेंशन का लाभ मिलेगा। ऐसे में प्रश्न उठता है कि जो कर्मचारी 30 वर्ष या उससे अधिक समय से काम कर रहे हैं। लेकिन उनका नियमितीकरण पिछले कुछ वर्षों में हुआ है, तो उनको पुरानी पुरानी पेंशन के तहत लाभ मिलेगा या नहीं?

पुरानी पेंशन कितनी कारगर?

लम्बे समय से कर्मचारियों के हितों में आवाज उठाते रहे, ”कर्मचारी संघ के प्रांतीय अध्यक्ष विजय झा” बताते हैं कि पुरानी पेंशन योजना से प्रदेश के 2 लाख 97 हजार 357 कर्मचारियों को लाभ मिलेगा।

पुरानी पेंशन के तहत 30 वर्ष या उससे अधिक समय से सेवा दे रहे कर्मचारियों को इसके लाभ के हकदार होंगें । साथ ही सेवाकाल में मृत्यु होने पर आश्रित को पारिवारिक पेंशन और नौकरी मिलेगी।

कहां फंस रहा है पेंच?

पुरानी पेंशन योजना के तहत जो कर्मचारी 30 वर्ष या उससे अधिक की सेवा दे चुके हैं उनको पुरानी पेंशन का लाभ मिलेगा। ऐसे में जो कर्मचारी 30 वर्ष या उससे अधिक समय से काम कर रहे हैं लेकिन उनका नियमितीकरण पिछले कुछ वर्षों में हुआ है,

तो उनको पुरानी पुरानी पेंशन के तहत कैसे लाभ मिलेगा या नहीं ?

जवाब में विजय झा ने बताया कि इस विषय को लेकर अभी स्थिति साफ नहीं हुई है। नया वित्तीय वर्ष 1 अप्रैल से चालू होगा जिसके बाद पुरानी पेंशन का नोटिफिकेशन जारी हो सकता है।

क्या चाहतें हैं कर्मचारी

विजय झा कहतें हैं हमारी सरकार से यही मांग है कि जिस दिन से कर्मचारी सरकारी सेवा में आया और सरकार की ओर से उन्हें वेतन दिया जा रहा हो। ऐसे में पुरानी पेंशन के तहत उनकी गिनती नियमितीकरण की तारीख से नहीं बल्कि जॉइनिंग के तारीख से होनी चाहिए। जिससे सभी कर्मचारियों को उनका हक मिलेगा।

बहरहाल, तमाम असमंजस की स्थिति के बीच शासकीय कर्मचारियों को पुरानी पेंशन के नोटिफिकेशन का इंतजार है। ऐसे में देखना होगा कि पुरानी पेंशन को लेकर अधर में फंसे हजारों कर्मचारियों की समस्या का हल सरकार किस तरीके से निकालती है।

राजस्थान के नोटिफिकेशन को लेकर भ्रम

गौरतलब है कि हाल में ही राजस्थान सरकार द्वारा पुरानी पेंशन का नोटिफिकेशन जारी किया गया। जिसे कुछ मीडिया संस्थानों ने छत्तीसगढ़ का बताकर कर्मचारियों को और गफलत में डाल दिया।

बता दें कि छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा प्रदेश में पुरानी पेंशन को लेकर किसी प्रकार का नोटिफिकेशन नहीं जारी किया गया है। अभी सिर्फ इसकी घोषणा की गई है।

राष्ट्रीय पेंशन योजना और पुरानी पेंशन योजना में अंतर?

नई पेंशन स्कीम में ये हैं खास बातें

  • नई पेंशन स्कीम से कर्मचारी की सैलरी से 10% की कटौती के जाती है। साथ ही 14 फीसदी हिस्सा सरकार मिलाती है।
  • नई पेंशन योजना (NPS) में निश्चित पेंशन की कोई गारंटी नहीं है।
  • नई पेंशन योजना शेयर बाजार आधारित है और इसका भुगतान बाजार पर निर्भर करता है।
  • नई पेंशन स्कीम में जीपीएफ (General Provident Fund) की सुविधा नहीं है।
  • नई पेंशन स्कीम (NPS) में भी कर्मचारी की मृत्यु पर परिजनों को पेंशन मिलती है लेकिन योजना में जमा पैसा सरकार जब्त कर लेती है।

पुरानी पेंशन योजना की खास बातें

पुरानी पेंशन योजना के तहत शासकीय कर्मचारी के वेतन से कोई कटौती नहीं होती। वहीं

  • पुरानी पेंशन स्कीम (OPS) में रिटायरमेंट के समय कर्मचारी के वेतन की आधी राशि पेंशन के रूप में मिलती थी।
  • पुरानी पेंशन योजना में रिटायर्ड शासकीय कर्मचारियों को सरकारी कोष से पेंशन का भुगतान किया जाता था।
  • पुरानी पेंशन योजना में जीपीएफ (General Provident Fund) की सुविधा होती थी।
  • पुरानी पेंशन योजना में कर्मचारी की सेवाकाल में मृत्यु होने पर आश्रित को पारिवारिक पेंशन एवं नौकरी का प्रावधान है।
  • पुरानी पेंशन योजना में 6 महीने के बाद मिलने वाला महंगाई भत्ता DA लागू होता है। NPS में 6 महीने के बाद मिलने वाला महंगाई भत्ता लागू नहीं होता है।

अब यह देखना दिलचस्प होगा कि शासकीय कर्मचारियों और सरकार के बीच इस रस्साकशी और असमंजस की स्थिति में पुरानी पेंशन का ऊंट किस करवट बैठता है। क्या पुरानी पेंशन बहाली को लेकर वर्षों से लड़ रहे प्रदेश के लाखों कर्मचारियों के लिए मील का पत्थर साबित होगा या सरकार के लिए नया सिरदर्द?

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