छत्तीसगढ़

CGPSC टॉपर आस्था बोरकर ने शेयर किए सफलता के मंत्र, कहा- कामयाब होने के लिए इच्छाओं को मारना जरूरी नहीं

भिलाई। जीवन में सफलता हासिल करने के लिए अपनी इच्छाओं की बलि चढ़ा देना जरूरी नहीं होता। इसे राजनांदगांव की बेटी आस्था बोरकर ने सच कर दिखाया है। CGPSC 2020 की परीक्षा में आस्था ने टॉप किया है।
आस्था ने कहा कि उन्होंने PSC की तैयारी के दौरान कॉलेज में दोस्तों के साथ खूब मस्ती की। फोटो खिंचवाए, पिकनिक मनाया और घर परिवार को पूरा समय देकर त्योहारों की खुशियों में भी शामिल हुई। आस्था ने कहा कि सफल होने के लिए यदि vकुछ जरूरी है तो वो है आपका लक्ष्य और उसको पाने के लिए टाइम मैनेजमेंट होना।
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आस्था ने बताया कि UPSC और PSC जैसी बड़े कॉम्पिटिटिव एग्जाम की तैयारी के लिए आज के युवा पढाई के नाम पर अपने आपको तीन चार सालों के लिए कमरे में बंद कर लेते हैं। इसके लिए वे अपनी इच्छाओं तक को मार देते हैं। घर परिवार और दोस्तों से भी दूरी बना लेते हैं। इस तरह से कभी सफलता हासिल नहीं होती।
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यदि युवा टाइम मैनेजमेंट कर ले और जितने घंटे भी पढ़े मन लगाकर पढ़े तो उसे सफलता अवश्य मिलेगी। आस्था ने बताया कि उन्होंने जिस परीक्षा में टॉप किया उसमें कई बाधाएं भी आई, मगर उन्होंने हिम्मत नहीं हारी। उन्हें मेंस एग्जाम के समय कोविड हो गया था। जून में पेपर होने थे। ऐसे में उन्होंने इसका फायदा पढ़ाई के लिए उठाया।
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 मामा का सपना किया पूरा
बता दें कि आस्था की मां सुशीला बोरकर एक गृहणी हैं। वहीं, उनके पिता ध्रुवराज बोरकर रेलवे में वरिष्ठ खंड अभियंता (SECR) हैं। उनकी एक बड़ी बहन आकांक्षा बोरकर, शिक्षा के क्षेत्र में करियर बनाने की तैयारी कर रही हैं। इस छोटे से परिवार को आस्था के मामा ने बहुत सहयोग दिया।
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जानकारी के मुताबिक, आस्था के मामा सहायक भूमि संरक्षण अधिकारी थे। साल 2013 में बीमारी की वजह से उनका देहांत हो गया। मामा का सपना था कि आस्था डिप्टी कलेक्टर बने। उसी सपने को पूरा करने के लिए आस्था ने जीतोड़ मेहनत की और राज्य में टॉप किया।
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घर परिवार ने दिया पूरा सहयोग
आस्था के मुताबिक, लड़कियां चाहें तो कुछ भी कर सकती हैं, जरूरत है तो बस उन्हें सहयोग देने की। उनके घर परिवार और गुरुजन ने उनकी इस सफलता में पूरा सहयोग दिया। यहां तक कि घर में मां उन्हें अधिक काम नहीं करने देती थी। उन्हें बड़ी बहन का भी हमेशा सपोर्ट मिला। वह अपनी तैयारी छोड़कर आस्था को पढ़ाई के लिए सपोर्ट किया करती थीं। उनके पिता ने दूर रहकर भी पूरा साथ दिया। वे परीक्षा से पहले फोन करके उनसे तैयारी को लेकर पूछते रहते थे।
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दुर्ग से स्कूली शिक्षा का प्रारंभ
बता दें कि CGPSC में टॉप करने वाली आस्था बोरकर ने अपनी स्कूली शिक्षा दुर्ग के महावीर जैन विद्यालय से की। फिर वह राजनांदगांव शिफ्ट हो गईं और गुजराती राष्ट्रीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय में पढ़ाई की। उन्होंने शासकीय दिग्विजय महाविद्यालय राजनांदगांव से एमएससी भौतिक किया।
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आस्था शुरू से ही मेधावी छात्रा रही हैं। उन्होंने 2018 में PSC की तैयारी शुरू की। वे दूसरे प्रयास में 2019 की PSC परीक्षा पास कर सीईओ जनपद पंचायत पद के लिए चयनित हुई। आस्था ने जनपद सीईओ के पद पर ज्वॉइन भी नहीं किया था कि उनका 2020 की PSC का रिजल्ट आ गया। इसमें उन्होंने पूरे छत्तीसगढ़ में टॉप किया।

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