कोरोना के कहर से कराहते देश में वैक्सीन ही बचाव की सबसे बड़ी उम्मीद है। हर रोज़ देश में लाखों लोगों को यह वैक्सीन लगाई जा रही है और अब तक कई करोड़ लोग टीकाकरण करवा चुके है । देशभर में 1 मई वैक्सीनेशन का अगला चरण शुरू होने जा रहा है। जिसमें 18 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों का टीकाकरण किया जाएगा। लेकिन टीकाकरण को लेकर कई लोगों के मन में अभी भी संशय बना हुआ है कई लोग वैक्सीन के साइड इफेक्ट के डर से टीकाकरण नहीं करवा रहे हैं। वहीं कई लोग टीकाकरण से पहले एहतियात नहीं बरत रहे। एक्सपर्ट्स के मुताबिक, टीकाकरण से पहले और बाद में लोगों को कुछ बातों का विशेष ध्यान रखना चाहिए।
* यदि आपको किसी दवाई एलर्जी है तो इस बारे में डॉक्टर को स्पष्ट जानकारी दें। ताकि डॉक्टर्स आपका चेकअप करके वैक्सीनेशन कर सकें।
* वैक्सीन लेने से पहले अच्छे से खाना खाएं। यदि डॉक्टर ने कोई दवा बताई है तो वैक्सीन से पहले वो भी ले सकते हैं। टीकाकरण से पहले तनाव मुक्त रहने का प्रयास करें। यदि आप बहुत ज्यादा घबरा रहे हैं तो काउंसिलिंग भी ले सकते हैं।
* यदि आपको डायबिटीज या ब्लड प्रेशर के मरीज है तो इसकी जांच अवश्य करा लें। कैंसर मरीज, खासतौर से जिनकी कीमोथैरेपी चल रही है, वो भी डॉक्टर्स की सलाह से ही काम करें।
* जिन लोगों ने कोरोना के इलाज के लिए ब्लड प्लाज्मा या मोनोक्लोनल एंटीबॉडीज ली है या जो लोग एक-डेढ़ महीने पहले ही संक्रमित हुए हैं, उन्हें फिलहाल वैक्सीन न लेने की सलाह दी जाती है। अगर कोरोना वैक्सीन की एक डोज लेने के बाद संक्रमण हुआ है तो कुछ हफ्ते के लिए दूसरी डोज को टाल दें।
* वैक्सीनेशन के बाद यदि किसी व्यक्ति में तुरंत खतरनाक एलेर्जिक रिएक्शन दिख रहे हैं तो उन्हें वैक्सीन सेंटर पर मॉनिटर किया जाता है। लोगों को यहां से तभी जाने दिया जाएगा जब ये सुनिश्चित हो जाए कि वो ठीक हैं।
* इंजेक्शन वाले हिस्से पर दर्द होना या बुखार चढ़ना बड़े ही साधारण से लक्षण हैं। ठंड लगना या थकावट जैसे कुछ लक्षणों की भी संभावना होती है, लेकिन ये लक्षण कुछ ही दिनों में चले जाते हैं। इसलिए ये घबराने की वजह नहीं है।
* टीकाकरण के बाद आप पौष्टिक आहार ले सकते हैं। शराब और धूम्रपान का सख्ती के साथ परहेज करें।
टीकाकरण के बाद भी सुरक्षा के तरीकों में ढील न दें। वैक्सीन लगने का मतलब ये बिल्कुल नहीं कि आप फेस मास्क, हैंड वॉश, हाइजीन और पब्लिक प्लेस पर फिजिकल डिस्टेंसिंग का ख्याल न रखें खांसते या छींकते वक्त भी जरूरी बातों को ध्यान रखें।
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