छत्तीसगढ़ के जांजगीर से चौका देने वाली खबर सामने आई है। दरअसल हसौद क्षेत्र की ग्राम पंचायत भाता माहुल में हुई, सरपंच के बेटे की हत्या मामले में बड़ा खुलासा हुआ है। इसमें महिला उप सरपंच सहित दो पत्रकारों को हिरासत में लिया गया है। इन्ही लोगों के साथ मिलकर 11 आरोपियों ने सरपंच के बेटे की हत्या को अंजाम दिया था। गौरतलब है कि पंचायत चुनाव के बाद से ही दोनों पक्षों में विवाद चल रहा था।
पुलिस से मिली जानकारी अनुसार जांजगीर के हसौद क्षेत्र की ग्राम पंचायत भाता माहुल से भगवान लाल चंद्रा सरपंच हैं। उनके काम को बेटा विजय कुमार चंद्रा देखता है। वहीं से राजकुमारी चंद्रा उपसरपंच है। दोनों पक्षों में चुनाव को लेकर रंजिश चली आ रही है। आरोप है कि इसी रंजिश के चलते उप सरपंच राजकुमारी चंद्रा ने माल्दा निवासी वेब पोर्टल के कथित पत्रकार रणधीर कश्यप और एक अखबार के पत्रकार गोविंद चंद्रा को विजय की हत्या करने के लिए सुपारी दी।
कॉल रिकॉर्डिंग से हुआ खुलासा
हत्या के लिए 5 लाख रुपए एडवांस दिए गए थे। हालांकि इससे पहले ही SP पारुल माथुर को इसकी खबर लग गई। उन्हें बातचीत की रिकॉर्डिंग भी हाथ लगी। जिसके बाद पुलिस ने देर रात उपसरपंच राजकुमारी चंद्रा, उसके पति सुरेश चंद्रा, दोनों कथित पत्रकारों रणधीर कश्यप व गोविंद चंद्रा, सुशीला यादव, दो भाइयों श्यामलाल चंद्रा व शाोभित चंद्रा, केशव चंद्रा, भरत चंद्रा, कौशल चंद्रा और सम्मेलाल जायसवाल को गिरफ्तार किया है।