प्रदेश कांग्रेसाध्यक्ष मोहन मरकाम दिल्ली गए
चुनाव से पहले सत्ता-संगठन में बदलाव के कयास
रायपुर।विधानसभा के सदन में अपनी ही पार्टी को डीएमएफ राशि की बंदरबांट का मामला उछाल कर मुख्यमंत्री भूपेश के विरुद्ध बिगुल फूंकने वाले प्रदेश कांग्रेसाध्यक्ष मोहन मरकाम आज सुबह दिल्ली के लिए रवाना हो गए। राजनीतिक गलियारों में ऐसे कयास लगाए जा रहे हैं कि आगामी चुनाव की आड़ में उनको हटाया जा रहा है।
ज्ञातव्य है कि विधानसभा चुनाव से पहले कांग्रेस में सरकार और संगठन में फेरबदल की कवायद तेज हो गई है। दिग्गज नेताओं ने दिल्ली में डेरा डाल दिया है। वहां आलाकमान से मंत्रणा का दौर चल रहा है।
प्रदेश अध्यक्ष मोहन मरकाम को हटाने की चर्चा कई दिनों से चल रही है। उन्हें मंत्री बनाकर उनकी जगह अमरजीत भगत को नया अध्यक्ष बनाया जा सकता है। उनके साथ जातीय समीकरण के लिहाज से दो कार्यकारी अध्यक्ष भी बनाने की योजना है। ऐसे में कुछ नेताओं को मंत्रिमंडल से इस्तीफा देना पड़ सकता है।
बदलाव के तमाम विकल्पों पर मंत्रणा करने के लिए आलाकमान ने प्रदेश के नेताओं को दिल्ली बुला लिया है। स्पीकर डॉ. चरणदास महंत तीन दिन से वहीं हैं। प्रदेश प्रभारी सैलजा के साथ वरिष्ठ मंत्री टीएस सिंहदेव परसों रवाना हुए। सोमवार को मंत्री ताम्रध्वज साहू पहुंच गए। शाम को मुख्यमंत्री भूपेश बघेल भी सूरत होते हुए पहुंचे। मंत्री डॉ. शिव डहरिया भी दिल्ली में हैं। मंगलवार की सुबह प्रदेश अध्यक्ष मोहन मरकाम भी रवाना हो गए।
यह तो समय बताएगा कि आदिवासी प्रदेश अध्यक्ष के बदले दूसरे आदिवासी को संगठन की चाभी देना आगामी चुनाव में कितना असर डालेगा। यहां यह भी नहीं भूलना चाहिए कि अमरजीत भगत उत्तर छत्तीसगढ़ के निवासी हैं जबकि मरकाम दक्षिण छत्तीसगढ़ के आदिवासियों के विरोध के स्वर दक्षिण छत्तीसगढ़ से फूट रहे हैं ऐसे में क्या कांग्रेस आलाकमान मोहन मरकाम को हटाने का जोखिम ले पाएगा।